April 17, 2025

हाई-टेक हेल्थ हब बन रहा यात्रा मार्ग, चारधाम यात्रा के लिए तैयारियां जोरों पर..

हाई-टेक हेल्थ हब बन रहा यात्रा मार्ग, चारधाम यात्रा के लिए तैयारियां जोरों पर..

 

 

 

 

उत्तराखंड: 30 अप्रैल से उत्तराखंड चारधाम यात्रा का शुभारंभ होने जा रहा है। देशभर से लाखों श्रद्धालु हर वर्ष इस पुण्य यात्रा में शामिल होते हैं। ऐसे में शासन और प्रशासन ने तैयारियों को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है। यात्रियों की सुविधा और सुरक्षा को देखते हुए स्वास्थ्य सेवाओं को प्राथमिकता दी जा रही है। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री ने विभागीय अधिकारियों को यात्रा काल के लिए ठोस रोडमैप तैयार करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही स्वास्थ्य मंत्री ने स्पष्ट किया है कि चारधाम यात्रा मार्गों एवं सभी धामों , यमुनोत्री, गंगोत्री, केदारनाथ और बद्रीनाथ पर स्थित चिकित्सा इकाइयों को सुव्यवस्थित किया जाए। उनका कहना है कि इन केंद्रों पर विशेषज्ञ डॉक्टरों की अनिवार्य तैनाती की जाए, ताकि किसी आपात स्थिति में श्रद्धालुओं को तत्काल इलाज मिल सके।इसके साथ ही स्वास्थ्य मंत्री ने सभी संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया है कि पर्वतीय यात्रा मार्गों पर मोबाइल मेडिकल यूनिट्स और एम्बुलेंस सेवाएं सशक्त की जाएं। प्रत्येक चिकित्सा इकाई में आवश्यक दवाएं और उपकरण पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हो। साथ ही हर धाम में 24×7 स्वास्थ्य सुविधा केंद्र संचालित हो।

श्रद्धालुओं को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं देने के दिए निर्देश..

श्रद्धालुओं को यात्रा के दौरान किसी भी प्रकार की चिकित्सा असुविधा न हो, इसके लिए स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने सोमवार को अपने शासकीय आवास पर विभागीय अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। बैठक के दौरान डॉ. रावत ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि यात्रा पर आने वाले तीर्थयात्रियों को बेहतर से बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं। उन्होंने स्पष्ट किया कि यात्रा मार्गों और चारों धामों में स्थित चिकित्सा इकाइयों में विशेषज्ञ चिकित्सकों व पैरामेडिकल स्टाफ की तैनाती अनिवार्य रूप से की जाए। मंत्री ने यह भी निर्देश दिए कि चारधाम यात्रा के दौरान स्थायी एवं अस्थायी चिकित्सा इकाइयों में पर्याप्त मात्रा में आवश्यक दवाइयां, चिकित्सा उपकरण और मेडिकल सपोर्ट सिस्टम पहले से ही उपलब्ध करा दिए जाएं। ताकि किसी आपात स्थिति में त्वरित और प्रभावी उपचार सुनिश्चित किया जा सके। स्वास्थ्य मंत्री ने अधिकारियों को यात्रा के लिए व्यवस्थित और प्रभावशाली रोडमैप तैयार करने को भी कहा।

पैदल यात्रियों को जीवन रक्षक उपकरण उपलब्ध कराने के दिए निर्देश..

मंत्री ने निर्देश दिए कि केदारनाथ, यमुनोत्री और हेमकुंड साहिब जैसे दुर्गम स्थलों की पैदल यात्रा पर विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने कहा कि इन रूटों पर एमआरपी (मेडिकल रिस्पॉन्स प्वाइंट) की संख्या बढ़ाई जाए और वहां तैनात मेडिकल स्टाफ को आवश्यक जीवन रक्षक उपकरण उपलब्ध कराए जाएं। इस वर्ष यात्रा के दौरान 49 स्थाई चिकित्सा इकाइयों के साथ-साथ 25 अस्थाई चिकित्सा इकाइयों की स्थापना की जाएगी। इन इकाइयों में विशेषज्ञ डॉक्टरों, चिकित्सा अधिकारियों और पैरामेडिकल स्टाफ की तैनाती रोटेशन के आधार पर की जाएगी, ताकि हर बिंदु पर चिकित्सा सहायता सुलभ हो। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि सरकार का उद्देश्य है कि चारधाम यात्रा पर आने वाले हर श्रद्धालु को प्राथमिक चिकित्सा से लेकर आपातकालीन स्वास्थ्य सेवाएं तत्काल मिल सकें। उन्होंने सभी अधिकारियों को निर्देश दिया कि सभी व्यवस्थाएं तय समय से पहले पूरी कर ली जाएं।

यात्रा रूटों पर 154 एम्बुलेंस होगी तैनात..

मंत्री रावत का कहना हैं कि इस वर्ष चारधाम यात्रा मार्गों पर कुल 154 एम्बुलेंस तैनात की जाएंगी, जिनमें 17 एडवांस लाइफ सपोर्ट (ALS) एम्बुलेंस,1 बोट एम्बुलेंस और 1 हेली एम्बुलेंस शामिल हैं। हेली एम्बुलेंस का उपयोग आपात स्थिति में गंभीर मरीजों को एयरलिफ्ट कर एम्स ऋषिकेश या दून मेडिकल कॉलेज पहुंचाने के लिए किया जाएगा। मंत्री ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि एम्बुलेंस का रिस्पांस टाइम अधिकतम 15 मिनट रखा जाए। ताकि आपात स्थिति में तीर्थयात्रियों को तत्काल उपचार मिल सके और उनकी जान बचाई जा सके। यात्रा मार्गों पर तैनात मेडिकल टीमों को हर संभव संसाधन मुहैया कराए जाएंगे ताकि श्रद्धालुओं की सुरक्षा और स्वास्थ्य को प्राथमिकता दी जा सके।