
सीएम धामी ने धर्मांतरण मामलों में सख्त कार्रवाई का ब्योरा मांगा..
उत्तराखंड: सीएम पुष्कर सिंह धामी ने राज्य में धर्मांतरण के मामलों में अब तक की गई कार्रवाई की रिपोर्ट तलब की है। राज्य सरकार ने हाल ही में जबरन धर्मांतरण को रोकने के लिए सख्त कानून लागू किया है, और सीएम ने अधिकारियों से इस अधिनियम के तहत की गई कार्रवाई का ब्योरा मांगा है। सरकार का उद्देश्य राज्य में धर्मांतरण के मामलों पर पूरी तरह से नियंत्रण पाना और इस प्रक्रिया को पूरी तरह से पारदर्शी बनाना है। सीएम ने अधिकारियों को आदेश दिया है कि वे कार्रवाई की पूरी जानकारी प्रस्तुत करें, ताकि सरकार की नीति और योजनाओं की प्रभावशीलता का मूल्यांकन किया जा सके। यह कदम राज्य में धर्मांतरण पर नियंत्रण रखने और इस मुद्दे पर कानून के अनुसार सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल माना जा रहा है।
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को अपने सरकारी आवास में उच्चाधिकारियों की एक बैठक के दौरान राज्य में धर्मांतरण के मामलों पर सख्त रुख अपनाने की बात की। उन्होंने अधिकारियों से यह सुनिश्चित करने को कहा कि संदिग्ध गतिविधियों और व्यक्तियों की पहचान में तेजी लाई जाए। सीएम ने स्पष्ट रूप से निर्देश दिया कि जब भी संदिग्ध गतिविधियों या व्यक्तियों की जानकारी मिले, तो तत्काल और सख्त कार्रवाई की जाए। इसके साथ ही सीएम धामी ने आधार कार्ड और अन्य सरकारी दस्तावेजों की प्रक्रिया को लेकर भी महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन दस्तावेजों को जारी करने से पहले पूरी जांच और सत्यापन किया जाए, ताकि गलत दस्तावेज जारी होने से बचा जा सके। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को चेतावनी दी कि यदि कोई भी गलत दस्तावेज जारी करता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। यह कदम राज्य में सुरक्षा और पारदर्शिता बढ़ाने के साथ-साथ समाज में अनुशासन बनाए रखने के लिए उठाया गया है।
सीएम ने राज्य में सरकारी भवनों के निर्माण कार्यों में स्थानीय श्रमिकों को प्राथमिकता देने की बात कही है। सीएम ने अधिकारियों से यह भी सुनिश्चित करने को कहा कि भवनों के निर्माण में राज्य की सांस्कृतिक पहचान और पारंपरिक पर्वतीय वास्तुशैली को प्रमुखता दी जाए, ताकि इन निर्माणों से राज्य की संस्कृति और पहचान को बनाए रखा जा सके। इसके साथ ही राज्य के सरहदी क्षेत्रों में सुरक्षा व्यवस्था को और अधिक मजबूत करने के निर्देश दिए। उन्होंने अधिकारियों को सघन चेकिंग अभियान चलाने की सलाह दी, ताकि सीमा से संबंधित संभावित सुरक्षा खतरे से निपटा जा सके। उन्होंने भ्रष्टाचार के खिलाफ निरंतर अभियान चलाने का भी आह्वान किया। उन्होंने टोल फ्री नंबर 1064 का व्यापक प्रचार-प्रसार करने के निर्देश दिए, ताकि आम लोग भ्रष्टाचार के खिलाफ अपनी शिकायतें आसानी से दर्ज करवा सकें।
सीएम ने सरकारी भूमि पर अतिक्रमण को रोकने और कब्जा मुक्त करने के अभियान को निरंतर जारी रखने के निर्देश दिए। उन्होंने अधिकारियों से यह सुनिश्चित करने को कहा कि अतिक्रमण से मुक्त कराई गई भूमि को फिर से कब्जे से बचाने के लिए प्रभावी और कठोर उपाय किए जाएं, ताकि भविष्य में किसी भी प्रकार का अवैध कब्जा न हो सके। साथ ही शत्रु संपत्तियों पर हुए अतिक्रमण का भी विस्तृत आंकलन करने और उस पर रिपोर्ट तैयार कर सरकार को जानकारी प्रस्तुत करने का आदेश दिया। यह कदम राज्य में संपत्ति अधिकारों की सुरक्षा को सुनिश्चित करने और भूमि विवादों को सुलझाने की दिशा में अहम माना जा रहा है। इस बैठक में प्रमुख सचिव आर. मीनाक्षी सुंदरम, अपर पुलिस महानिदेशक वी. मुरूगेशन, एपी अंशुमन, सचिव विनोद कुमार सुमन, और उपाध्यक्ष एमडीडीए बंशीधर तिवारी भी उपस्थित थे। सीएम के इन निर्देशों से सरकारी भूमि की सुरक्षा और अतिक्रमण के खिलाफ सख्त कार्रवाई की उम्मीद जताई जा रही है।
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